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AMU कुलपति प्रो. तारिक मंसूर, रजनीकांत माहेश्वरी समेत 6 सदस्य मनोनीत, 80 सदस्यों से बढ़ी सरकार की ताकत

उत्तर प्रदेश में राज्यपाल कोटे से छह विधान परिषद सदस्यों को नामित किया गया है. राज्यपाल आनंदी बेन पटेल ने नामित छह सदस्यों के नाम पर मुहर लगा दी है, जिसमें अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) के कुलपति तारिक मंसूर और राम मंदिर निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्रा के बेटे साकेत मिश्रा भी शामिल हैं.

दरअसल, उत्तर प्रदेश सरकार के विशेष सचिव चंद्रशेखर की ओर से सोमवार देर रात जारी अधिसूचना जारी की गई. जिसके मुताबिक राज्यपाल ने आठ रिक्त पदों पर कुल छह लोगों को एमएलसी के तौर पर मनोनीत किया गया है.

तारिक मंसूर और साकेत मिश्रा के अलावा अम्बेडकर महासभा के अध्यक्ष लालजी प्रसाद निर्मल, बीजेपी ब्रज क्षेत्र इकाई के पूर्व अध्यक्ष रजनीकांत माहेश्वरी, बीजेपी की वाराणसी जिला इकाई के प्रमुख हंसराज विश्वकर्मा और आजमगढ़ के रहने वाले रामसूरत राजभर के नाम शामिल हैं.

यूपी विधान परिषद की कुल 100 सीटों में से 10 सदस्यों को राज्यपाल के द्वारा मनोनीत किए जाते हैं, जिसमें से छह सदस्यों को सोमवार को आनंदी बेन पटेल ने मंजूरी दी है. हालांकि, राज्यपाल कोटे के दो सीटें अभी भी रिक्त है.राज्यपाल कोटे से ऐसे सदस्यों को विधान परिषद के लिए मनोनीत किया जाता है, जो कला, साहित्य, समाजसेवा के क्षेत्र से आते हैं.

विधान परिषद में बीजेपी के 74 सदस्य 

वर्तमान में 100 सदस्यीय यूपी विधान परिषद में बीजेपी के 74 सदस्य हैं, जबकि प्रमुख विपक्षी दल समाजवादी पार्टी के 9 सदस्य हैं. वहीं बहुजन समाज पार्टी (बसपा), अपना दल (सोनेलाल), निर्बल इंडियन शोषित हमारा आम दल (निषाद), जनसत्ता दल लोकतांत्रिक और शिक्षक दल (गैर-राजनीतिक) के एक-एक सदस्य हैं. स्वतंत्र समूह और निर्दलीय के दो-दो सदस्य हैं और आठ सीटें खाली थीं, जिनमें से दो सीटों को छोड़कर अब 6 सीटें भर दी गई हैं.

नए एमएलसी के बारे में कुछ बातें

एएमयू वीसी तारिक मंसूर ने जवाहरलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के प्रिंसिपल के रूप में कार्य किया, जिन्हें पिछले साल वीसी के तौर पर एक साल का एक्सटेंशन दिया गया है. एएमयू के इतिहास में पहली बार किसी वीसी को एक्सटेंशन मिला है.

वहीं, नौकरशाह रहे नेपेंद्र मिश्रा के बेटे साकेत मिश्रा एक निवेश बैंकर, नीति योगदानकर्ता और पूर्वांचल विकास बोर्ड के सलाहकार हैं. वह भारतीय प्रबंधन संस्थान, कलकत्ता और सेंट स्टीफेंस कॉलेज के पूर्व छात्र हैं.

लिस्ट में लालजी निर्मल (दलित) और रजनीकांत माहेश्वरी (जो व्यापारी समुदाय से आते हैं) का नाम भी शामिल है. 25 मार्च को माहेश्वरी की जगह दुर्विजय सिंह शाक्य को यूपी बीजेपी के ब्रज क्षेत्र का अध्यक्ष बनाया गया था.

हंसराज विश्वकर्मा (ओबीसी नेता) 2016 से बीजेपी की वाराणसी इकाई के जिलाध्यक्ष हैं. रामसूरत राजभर ने 2022 का यूपी विधानसभा चुनाव आजमगढ़ जिले के फूलपुर पवई से लड़ा था, लेकिन समाजवादी पार्टी के रमाकांत यादव से हार गए थे. इस तरह से योगी सरकार ने राज्यपाल कोटे से उन्हें विधान परिषद भेजकर सियासी समीकरण साधने का दांव चला है.

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