उफान के बाद दिल्ली की सड़कों पर पहुंचा यमुना का पानी, CM केजरीवाल ने NDRF से मांगी मदद
दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) ने कहा है कि यमुना नदी के जल स्तर (Yamuna Water Level) में 45 साल का रिकॉर्ड टूटना अच्छी बात नहीं है. यह हालात हथिनीकुंड बैराज से बड़े पैमाने पर जल छोड़े जाने की वजह बने हैं. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार (Central government) को अब इस मामले में दखल देने की जरूरत है. केंद्र सरकार इस मामले में हरियाणा की बीजेपी सरकार से बात कर जरूरी कदम उठाए.
दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल का यह बयान केंद्रीय जल आयोग द्वारा बुधवार को यमुना के जल स्तर में रिकॉर्ड 207.72 मीटर की भविष्यवाणी के बाद आया है. उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा है कि यमुना में जल स्तर में 45 साल का रिकॉर्ड टूटना दिल्ली के लिए अच्छी खबर नहीं है. दिल्ली में पिछले 2 दिनों से बारिश नहीं हुई है, लेकिन हथिनीकुंड बैराज में हरियाणा द्वारा असामान्य रूप से अधिक मात्रा में पानी छोड़े जाने के कारण यमुना का स्तर बढ़ रहा है। उन्होंने केंद्र सरकार से इस मामले में हस्तक्षेप करने और यह सुनिश्चित करने का आग्रह करें कि यमुना का स्तर और न बढ़े. उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा है कि 1979 में यमुना के जल स्तर का उच्चतम स्तर 207.49 मीटर दर्ज किया गया था, जो अब बढ़कर 207.55 मीटर हो गया.
बाढ़ से नहीं टूटेंगे यमुना के तटबंध
दूसरी तरफ केजरीवाल सरकार में पीडब्लूडी मंत्री आतिशी ने राजधानी में बाढ़ की चेतावनी जारी होने के बाद कहा है कि हमारी सरकार हर स्थिति से निपटने के लिए तैयार है. प्रशासनिक एजेंसियों की ओर से यमुना नदी के पास से पानी के निकासी अभियान लगातार जारी है. पानी के कटाव को रोकने के लिए कई तटबंध स्थापित किए गए हैं। बाढ़ से प्रभावित निचले इलाके के लोगों को सुरक्षित स्थानों पर ले जाने का काम युद्धस्तर पर जारी है. जहां तक बाढ़ की आने की बात है तो दिल्ली के हालात में काफी बदलाव आ चुका है. पिछले कुछ दशकों के दौरान कई तटबंध बने हैं. उन्होंने कहा कि बाढ़ की वजह से यमुना के तटबंध नहीं टूटेंगे.