‘भिंडरावाला को इंदिरा गांधी ने दी थी शह फिर दे दिया मारने का ऑर्डर,’ बोले ऑपरेशन ब्लू स्टार के जनरल कुलदीप बराड़
नई दिल्ली। श्री हरिमंदिर साहिब में साल 1984 में आपरेशन ब्लू स्टार का नेतृत्व करने वाले लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) कुलदीप सिंह बराड़ ने कहा है कि पंजाब में खालिस्तान आंदोलन फिर सिर उठा रहा है, जिसे पड़ोसी देश पाकिस्तान हवा दे रहा है। लंदन, कनाडा, अमेरिका और पाकिस्तान सभी मिलकर दोबारा माहौल खराब करना चाहते हैं।
पड़ोसी देश पाकिस्तान दे रहा है हवा
एएनआइ पाडकास्ट में लेफ्टिनेंट जनरल बराड़ ने इस मुद्दे पर विस्तार से बातचीत की है। बराड़ अभी भी खालिस्तान समर्थक आतंकियों की हिटलिस्ट में हैं। 10 वर्ष पहले लंदन में उन पर जानलेवा हमला हो चुका है। बराड़ ने कहा कि आज लंदन के साउथ हाल व दूसरे देशों में जरनैल सिंह भिंडरावाले की तस्वीरें नजर आती हैं। प्रवासी खालिस्तान आंदोलन का समर्थन कर रहे हैं। पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आइएसआइ उनकी मदद कर रही है।
इंदिरा गांधी ने भिंडरावाले को बनाया बहुत बड़ा
उन्होंने कहा कि 1980 के आसपास पंजाब में हालात बहुत खराब थे। पुलिस बेहद कमजोर हो गई थी। कानून व्यवस्था चरमराई हुई थी। एक डीआइजी को मारकर श्री हरिमंदिर साहिब से बाहर फेंक दिया गया। इंदिरा गांधी ने भिंडरावाले को बहुत बड़ा बना दिया था। पुलिस उसके खिलाफ कार्रवाई करने से डर रही थी। जब वह समस्या बन गया तो इंदिरा गांधी ने खत्म करने और नष्ट करने का आदेश दिया, लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी थी।
राज्य पर भिंडरावाले का नियंत्रण
1984 की शुरुआत में अलगाववादी खालिस्तान को एक अलग देश घोषित करने जा रहे थे। बराड़ ने बताया कि हालात बिगड़ने के प्रमुख कारणों में बेरोजगारी थी। बेरोजगार युवा मोटरसाइकिल पर पिस्तौल लेकर घूमते थे। मिनी गैंगस्टर भी थे। भिंडरावाले का राज्य पर पूरा नियंत्रण हो गया था।
सेना ने श्री अकाल तख्त साहिब पर नहीं की थी गोलीबारी
बराड़ ने स्पष्ट किया कि सेना ने श्री अकाल तख्त साहिब पर कोई गोलीबारी नहीं की थी। उस समय हालात ठीक वैसे ही थे जैसे किसी को बाक्सिंग रिंग में हाथ बांधकर नीचे उतारा जाए और फिर जाकर लड़ने को कहा जाए। श्री हरिमंदिर साहिब में शारीरिक रूप से प्रवेश करने के अलावा और कोई विकल्प नहीं था। हम पर मशीन गनें दागी जा रही थीं। इन्हें ऐसी जगहों से आपरेट किया जा रहा था, जहां लोकेशन भी नजर नहीं आती थी। आठ से 10 घंटों में हमने तीन से चार सौ लोगों को खोया था। यह इतना आसान नहीं था, क्योंकि ऊपर से आदेश था कि इमारत सेना द्वारा क्षतिग्रस्त नहीं होनी चाहिए।
ऑपरेशन ब्लू स्टार के दौरान मारा गया भिंडरावाले
पंजाब में खालिस्तानी आंदोलन पर बोलते हुए उन्होंने कहा कि राज्य में आंदोलन का पुनरुत्थान हो रहा है। पड़ोसी देश पाकिस्तान इस मामले में मदद कर रहा है। उन्होंने कहा कि लंदन, कनाडा, अमेरिका और पाकिस्तान सभी एक साथ मिलकर इसका पुनरुत्थान करना चाहते हैं। मालूम हो कि भिंडरावाले सिख धार्मिक संप्रदाय दमदमी टकसाल का प्रमुख था। वह स्वर्ण मंदिर परिसर में भारतीय सेना द्वारा शुरू किए गए ऑपरेशन ब्लू स्टार के दौरान अपने सशस्त्र अनुयायियों के साथ मारा गया था।
1984 में चलाया गया था ऑपरेशन ब्लू स्टार
मालूम हो कि भारतीय सेना ने साल 1984 में एक जून से लेकर आठ जून के बीच ऑपरेशन ब्लू स्टार चलाया था। भारत की तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने जरनैल सिंह भिंडरावाले सहित सिख आतंकवादियों को बाहर निकालने के लिए सैन्य अभियान चलाने का आदेश दिया था, जो स्वर्ण मंदिर परिसर के अंदर हथियार जमा कर रहे थे।